चारो दिशाओ में लहर रहे है,
श्याम प्रभु के निशान,
हर तरफ एक ही शोर है,
जय जय जय श्री श्याम,
हाँ इनकी दुनिया दीवानी है,
बस अर्जी से बनती कहानी है।।
तर्ज – लाल दुपट्टा उड़ गया।
हार के जो भी आता है,
उसको ले लेता ओट में,
जिसका काम ना कोई करे,
ये करता डंके की चोट पे,
है सबका सहारा,
हम को भी प्यारा,
दुजा नही है इनसा कोई,
लीला निराली है,
मेरा श्याम बाबा ही सुनो,
कलयुग अवतारी है,
हाँ इनकी दुनियाँ दीवानी है,
बस अर्जी से बनती कहानी है।।
भेद भाव ये करता नही,
सब पे प्यार लुटाता है,
जो भी प्रेम से ले बुला,
ये उसका ही हो जाता है,
है बड़ा दयालु,
है बड़ा कृपालु,
‘सोनी’ को भी तार दिया,
बिना जादू टोने के,
बस पल भर में अपना लिया,
इस श्याम सलोने ने,
हाँ इनकी दुनियाँ दीवानी है,
बस अर्जी से बनती कहानी है।।
चारो दिशाओ में लहर रहे है,
श्याम प्रभु के निशान,
हर तरफ एक ही शोर है,
जय जय जय श्री श्याम,
हाँ इनकी दुनिया दीवानी है,
बस अर्जी से बनती कहानी है।।