सारा जग है प्रीत पराई माँ का चरण सुखधाम लिरिक्स | sara jag hai preet parai maa ka charan sukh dham lyrics

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शत शत वंदन माँ चरणों में,
कोटि कोटि प्रणाम,
सारा जग है प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम,
सारा जग हैं प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम।bd।

तर्ज – चांदी जैसा रंग है।

कष्ट पड़े जब देवों पे माँ,
तूने लाज बचाई,
जब जब पाप बढ़े धरती पर,
रूप बदलकर आई,
अष्टभुजी माँ विंध्यवासिनी,
दुर्गा तू ही कहाई,
पाप नाशिनी मैया करती,
भक्तों के शुभ काम,
सारा जग हैं प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम।bd।

शस्त्र को धारण करने वाली,
जगदम्बा तू महान,
सिंह वाहिनी मैया तू,
भक्तों की बढ़ाती शान,
सब पर सुख बरसा के मैया,
करती दया की दान,
कष्ट मिटा के दूर करो माँ,
काली घटा की शान,
सारा जग हैं प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम।bd।

तेरी चरण धूलि तो मैया,
सोए भाग्य जगाए,
तेरी कृपा दृष्टि से अम्बे,
जीवन में सुख आए,
नवदुर्गा नवरूप तेरे,
तू शिवशक्ति कहलाए,
सुन्दर रूप स्वरूपों वाली,
सभी जपे तेरा नाम,
 
सारा जग हैं प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम।bd।

शत शत वंदन माँ चरणों में,
कोटि कोटि प्रणाम,
सारा जग है प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम,
सारा जग हैं प्रीत पराई,
माँ का चरण सुखधाम।bd।

Singer – Dhiraj Kant Ji

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