बनकर मीरा प्रेम दीवानी,
रटे तुम्हारा नाम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम।।
तर्ज – चांदी जैसा रंग है तेरा।
तुमसे है गठजोड़ ये जोड़ा,
तुम हो स्वामी मेरे,
जनम जनम की दासी मैं तेरी,
अंतर्यामी मेरे,
तुम हो मेरे प्राण ओ प्रीतम,
सुन लो स्वामी मेरे,
बाट मिलन की देख रही हूँ,
मैं तो आठों याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम।।
माँ कहती तू बिन्द ना मेरा,
मूरख सब जग जाने,
पिता कहे तू जगत का स्वामी,
सारी दुनिया माने,
सखियाँ कहती अब हठ ना कर
काहे ऐसा ठाने,
आकर सबको एक बार बस,
कह दे तू मेरा प्राण,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम।।
मानु ना कुल की लोक लाज को,
गलिन गलिन में डोलूं,
बनकर जोगन मीरा भटके,
इकतारा ले बोलूं,
तू ना खोले नयन को अपने,
मैं तो मन को खोलूं,
राशि मीरा मीरा राशि,
दोई जिस्म एक जान,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम।।
बनकर मीरा प्रेम दीवानी,
रटे तुम्हारा नाम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम,
आकर कण्ठ लगालो अब तो,
मन मोहन घनश्याम।।
Singer – Rashi Patni
ये भी देखें – काहे तेरी अखियों में पानी।